दुर्ग । छत्तीसगढ़ी लोक कलाकार गीतकार गिरवर दास मानिकपुरी का 31 दिसंबर को शाम 4:00 बजे साई अस्पताल कसारीडीह दुर्ग में निधन हो गया। उन्हें हार्ट में तकलीफ के बाद 30 दिसंबर की रात्रि अस्पताल में भर्ती किया गया था। 67 वर्षीय गिरवरदास मानिकपुरी का छत्तीसगढ़ी लोककला को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण योगदान है। वे आकाशवाणी और दूरदर्शन पर लगातार अपनी प्रस्तुति देते रहे हैं । दुर्ग जिले में साक्षरता अभियान के दौर में भी वे इससे जुड़े रहे और लोगों को साक्षर करने जागरूकता अभियान नाचा, गम्मत सहित अन्य मंचों में प्रस्तुति देते रहे। श्री मानिकपुरी ने कई एल्बम और फिल्मों में भी काम किया है और उन्होंने खुद भी फिल्म बनाई है। गिरवर दास मानिकपुरी छत्तीसगढ़ के एक प्रसिद्ध लोक कलाकार हैं। वह अपनी अद्वितीय आवाज़ और लोक संगीत की प्रस्तुति के लिए जाने जाते हैं।
गिरवर दास मानिकपुरी का जन्म छत्तीसगढ़ के मानिकपुरी गांव में हुआ था। वह बचपन से ही संगीत में रुचि रखते थे और उन्होंने अपने पिता से संगीत की शिक्षा प्राप्त की। गिरवर दास मानिकपुरी ने अपने करियर की शुरुआत लोक संगीत के साथ की और जल्द ही वह छत्तीसगढ़ के एक प्रसिद्ध लोक कलाकार बन गए। उन्होंने अपनी अद्वितीय आवाज़ और लोक संगीत की प्रस्तुति के लिए कई पुरस्कार और सम्मान प्राप्त किए हैं।
अंतिम संस्कार बुधवार को ...
छत्तीसगढ़ के ख्याति नाम लेखक, गीतकार, कलाकार गिरवरदास मानिकपुरी का इस प्रकार आकस्मिक चले जाना छत्तीसगढ़ के कलाकारों के लिए बहुत बड़ी अपूर्णिय क्षति है। छत्तीसगढ़ के कलाकारों ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की है। पारिवारिक सूत्रों के अनुसार उनका अंतिम संस्कार 1 जनवरी 2025 बुधवार को सुबह 11 बजे अटल आवास के पीछे उरला (दुर्ग) मुक्तिधाम में किया जाएगा।
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