शिवनाथ में उफान का अंदाजा नहीं था इन 10 मजदूरों को...

शिवनाथ में उफान का अंदाजा नहीं था इन 10 मजदूरों को...

दुर्ग। शिवनाथ में राजनांदगांव के मोंगरा बैराज से छोड़ा गया पानी रविवार की सुबह भारतमाला प्रोजेक्ट के निर्माणाधीन सड़क पर काम करने आए 10 कर्मचारियों के लिए मुसीबत लेकर आया। कर्मचारी शनिवार को पूरे दिन काम के बाद राहत की उम्मीद में रात को अस्थायी कैम्प में सो गए। आधी रात जब नींद खुली तो उन्हे चारो ओर पानी ही पानी मिला। अनजान जगह पर काम के कारण कर्मचारियों को कुछ नहीं सूझा और जान बचाने के लिए खुद तैयार कर रहे निर्माणाधीन ब्रिज पर चढ़ गए। सुबह दूसरी जगह पर ठहरे उनकी टीम के साथियों को इसका पता चला तो इसकी सूचना पुलिस को दी गई। इसके बाद मजदूरों को प्रशासन की मदद से रेस्क्यू कर सुरक्षित जगह पहुंचाया गया।

जानकारी के अनुसार भारतमाला प्रोजेक्ट के कर्मचारी ग्राम थनौद में शिवनाथ नदी पर पुल निर्माण कर रहे है जहां पर कैम्प लगाकर ये कर्मचारी रह रहे थे मोंगरा जलाशय से छोड़े गए पानी की वजह से शिवनाथ में अचानक बाढ़ की स्थिति निर्मित हो गई इससे मजदूर चारो तरफ पानी से घिर गए। डिप्टी कलेक्टर उत्तम ध्रुव के अनुसार ग्रामीणों ने इसकी सूचना पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों को दी।

एसडीआरएफ की टीम ने निकाला बाहर...

कर्मचारियों के बाढ़ से घिरे होने की जानकारी मिलने पर एसडीएम दुर्ग मुकेश रावटे, डिप्टी कलेक्टर उत्तम ध्रुव व राजस्व महकमे के अधिकारी तत्काल मौके पर पहुंचे। उनके द्वारा जिला सेनानी नागेन्द्र को सूचना दी गई। जिस पर उनके साथ एसडीआरएफ की टीम नाव लेकर पहुंचे टीम ने तत्काल रेस्क्यू शुरू कर बाढ़ में घिरे सभी 10 कर्मचारियों को सुरक्षित बाहर निकाला।