-पीएससी परीक्षा परिणामों ने हजारों अभ्यर्थियों का परीक्षा प्रणाली के प्रति विश्वास लौटाया - मुख्यमंत्री
रायपुर। मुखिया मुख सो चाहिए, खान पान को एक, पालै पोसै सकल अंग, तुलसी सहित विवेक। मुखिया का स्वभाव मुख के समान होना चाहिए। जैसे मुख शरीर के सभी अंगो का पालन -पोषण करता है। उसी प्रकार मुखिया को भी विवेकपूर्वक अपने परिवार का पालन पोषण करना चाहिए। हम बहुत भाग्यशाली हैं कि हमारे प्रदेश के मुखिया ऐसे ही हैं, जो सभी की समान रूप से चिंता करते है। उन्होंने अभ्यर्थियों की चिंता की, हम सभी को प्रोत्साहित किया और हमें सम्मानित भी किया। छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग की परीक्षा में तीसरा रैंक पाने वाली सुश्री आस्था शर्मा ने आज मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से हुई आत्मीय मुलाकात के बाद उक्त बातें कही।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आस्था को उनकी सफलता के लिए शुभकामनाएं दी और उनके उज्जवल भविष्य की कामना की। मुख्यमंत्री ने कहा के प्रदेश के बेटे-बेटियों से किया वादा हमने निभाया है।
सुश्री आस्था ने परीक्षा के दौरान आने वाली चुनौतियों और उतार-चढ़ाव को साझा किया। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ समय से हम सभी अभ्यर्थियों के मन में शंका थी कि पीएससी परीक्षा की तैयारी करनी चाहिए या नहीं। लेकिन इस साल परीक्षा की पूरी प्रक्रिया जिस पारदर्शिता के साथ हुई, उससे हम सभी को हौसला मिला। आस्था ने मुख्यमंत्री निवास बुलाकर सम्मानित करने और सभी अभ्यर्थियों के प्रोत्साहन के लिए मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के प्रति आभार व्यक्त किया। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग की सिविल सेवा परीक्षा 2023 की परीक्षा में चयनित टॉपर्स को अपने निवास पर आमंत्रित कर सम्मानित किया।
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