स्वास्थ्य

छत्तीसगढ़ को स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में मिली दो ऐतिहासिक उपलब्धि

335201120250736431000408500.jpg

-इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब (IPHL) जिला अस्पताल पंडरी बना देश का सबसे पहला और इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब (IPHL) जिला अस्पताल बलौदाबाजार बना देश का दूसरा क्वालिटी सर्टिफाइड लैब
-मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने दी बधाई: कहा - यह उपलब्धि छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य तंत्र में आ रहे व्यापक, वैज्ञानिक और संरचनात्मक सुधारों का प्रमाण
रायपुर।
छत्तीसगढ़ ने स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता को लेकर एक और ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। जिला अस्पताल पंडरी रायपुर और जिला अस्पताल बलौदाबाजार की इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब (IPHL) को भारत सरकार के नेशनल क्वालिटी एश्योरेंस कार्यक्रम (NQAS) के अंतर्गत राष्ट्रीय स्तर का गुणवत्ता प्रमाणपत्र प्राप्त हुआ है। इनमें पंडरी रायपुर की IPHL देश की प्रथम, जबकि बलौदाबाजार की IPHL देश एवं राज्य की द्वितीय प्रमाणित लैब बनी है। यह उपलब्धि छत्तीसगढ़ में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार और वैज्ञानिक मानकों पर आधारित लैब सुविधाओं के सुदृढ़ीकरण को प्रमाणित करती है।
राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत बनाने की दिशा में छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा निरंतर किए जा रहे प्रयासों का यह सीधा परिणाम है कि जनवरी 2024 से नवंबर 2025 के बीच राज्य की कुल 832 स्वास्थ्य संस्थाओं का राष्ट्रीय मानकों के आधार पर मूल्यांकन और प्रमाणीकरण किया गया है। इनमें दंतेवाड़ा के दूरस्थ क्षेत्र चिंतागुफा जैसे दुर्गम इलाकों के स्वास्थ्य केंद्र भी शामिल हैं। उल्लेखनीय है कि देश में पहली बार किसी राज्य में लैब्स की इतनी बड़ी और व्यवस्थित श्रृंखला का मूल्यांकन एवं प्रमाणीकरण हुआ है, जिसने छत्तीसगढ़ को राष्ट्रीय स्तर पर विशिष्ट स्थान दिलाया है।
दोनो लैब्स का मूल्यांकन भारत सरकार, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय, नई दिल्ली द्वारा नामित विशेषज्ञ मूल्यांकनकर्ताओं की टीमों ने किया। पंडरी रायपुर की IPHL का मूल्यांकन 10 सितंबर 2025, जबकि बलौदाबाजार की IPHL का मूल्यांकन 11 सितंबर 2025 को किया गया। दोनों टीमों ने लैब की कार्यप्रणाली, मरीज केंद्रित सेवाएँ, गुणवत्ता नियंत्रण, समयबद्ध रिपोर्टिंग और सुरक्षा प्रक्रियाओं की गहन समीक्षा की। मूल्यांकन उपरांत, पंडरी रायपुर IPHL को 90% और बलौदाबाजार IPHL को 88% स्कोर के साथ प्रमाणन प्राप्त हुआ। यह स्कोर स्वास्थ्य गुणवत्ता के राष्ट्रीय मानकों में उत्कृष्ट श्रेणी में आता है।
इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब की अवधारणा का मूल उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि मरीजों को एक ही छत के नीचे पैथोलॉजी, बायोकैमिस्ट्री और माइक्रोबायोलॉजी से संबंधित सभी प्रकार की जांच सुविधाएं उपलब्ध हों। इससे न केवल जांच की गति और विश्वसनीयता बढ़ती है, बल्कि लोगों को महंगी निजी जांच लैब्स पर अनावश्यक निर्भरता से भी राहत मिलती है। एकीकृत मॉडल होने के कारण, मरीजों को एक ही स्थान पर किफायती और सटीक जांच रिपोर्ट उपलब्ध हो पाती है।
पंडरी रायपुर की IPHL पूरे राज्य का मॉडल लैब बन चुकी है। यहां प्रतिदिन 3,000 से अधिक जांचें की जाती हैं और 120 से अधिक प्रकार की जांच सेवाएं उपलब्ध हैं। यह लैब ‘हब एंड स्पोक’ मॉडल पर कार्य करते हुए रायपुर जिले के विभिन्न सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों से प्राप्त सैंपल की भी जांच करती है। कई बार आपातकालीन परिस्थितियों में यह लैब मेडिकल कॉलेज और अन्य जिलों से आए नमूनों की जांच भी करती रही है, जिससे इसकी क्षमता और उपयोगिता दोनों प्रमाणित होती हैं।
बलौदाबाजार की IPHL भी सेवा गुणवत्ता के मामले में तेजी से उभरती हुई लैब है। यहां प्रतिदिन 1,000 से 1,200 जांचें की जाती हैं और 100 से अधिक प्रकार की लैब टेस्टिंग उपलब्ध है। लैब में अत्याधुनिक उपकरणों, प्रशिक्षित तकनीशियनों और समयबद्ध रिपोर्टिंग की वजह से जिले के हजारों मरीजों को बड़ी राहत मिल रही है। ग्रामीण एवं आदिवासी क्षेत्रों के मरीजों को अब जांच के लिए शहर या निजी लैब्स में जाने की जरूरत नहीं पड़ती।
स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा पूर्व में भी पंडरी रायपुर IPHL के मॉडल की राष्ट्रीय स्तर पर सराहना की जा चुकी है। देश के 13 से अधिक राज्यों की टीमें उक्त लैब का निरीक्षण कर इसकी कार्यप्रणाली का अवलोकन कर चुकी हैं। इतना ही नहीं, भारत सरकार द्वारा इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब्स हेतु जारी की गई विस्तृत गाइडलाइन के मुख्य पृष्ठ पर रायपुर IPHL की फोटो प्रकाशित की गई है। इस मॉडल को PM–ABHIM के अंतर्गत पूरे देश में स्थापित किए जा रहे IPHL नेटवर्क के मार्गदर्शक स्वरूप में अपनाया गया है।
छत्तीसगढ़ में गुणवत्ता आधारित मूल्यांकन की यह प्रक्रिया केवल प्रमाणीकरण तक सीमित नहीं है, बल्कि यह स्वास्थ्य प्रणाली में स्थायी सुधार की दिशा में एक ठोस कदम है। NQAS के मानकों में साफ-सफाई, सुरक्षा, रोगी संतुष्टि, रिकॉर्ड प्रबंधन, तकनीकी गुणवत्ता, उपकरण कैलिब्रेशन, बायो-मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट और स्टाफ क्षमता निर्माण जैसे बिंदुओं का कड़ाई से पालन अनिवार्य है। दोनों लैब्स ने इन सभी मानकों पर उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए यह उपलब्धि अर्जित की है।

Image after paragraph

आयुक्त सह संचालक डॉ. प्रियंका शुक्ला ने बताया कि NQAS कार्यक्रम भारत सरकार का एक अत्यंत महत्वपूर्ण प्रयास है, जिसके जरिए सरकारी अस्पतालों में गुणवत्ता सुधार को संस्थागत स्वरूप दिया जा रहा है। इस कार्यक्रम में निर्धारित चेकलिस्ट बेहद व्यापक है और प्रमाणन तभी मिलता है जब कोई संस्थान सभी मानकों पर सतत् उत्कृष्टता प्रदर्शित करे।छत्तीसगढ़ की दोनों IPHL लैब्स ने जिस दक्षता और अनुशासन के साथ सभी मापदंडों को पूरा किया है, वह राज्य के स्वास्थ्य तंत्र की मजबूती और प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार के साथ-साथ गुणवत्ता सुधार पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है। इस प्रक्रिया में लैब तकनीशियनों, चिकित्सकों और प्रबंधन टीमों ने बड़े समर्पण और परिश्रम के साथ कार्य किया है। पंडरी रायपुर और बलौदाबाजार IPHL की उपलब्धि पूरे राज्य के लिए प्रेरक है और आने वाले समय में छत्तीसगढ़ के अन्य जिलों में भी इसी मॉडल को सुदृढ़ता से लागू किया जाएगा।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय एवं स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल द्वारा दोनों जिला अस्पतालों की IPHL टीमों—चिकित्सकों, तकनीशियनों और स्टाफ—को इस ऐतिहासिक उपलब्धि पर हार्दिक बधाई और शुभकामनाएँ दी गई हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं छत्तीसगढ़ सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता हैं, और IPHLs के राष्ट्रीय प्रमाणन से राज्य की स्वास्थ्य प्रणाली को नई विश्वसनीयता और मजबूती मिली है।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्य सरकार प्राथमिक और द्वितीयक स्वास्थ्य सुविधाओं को आधुनिक उपकरणों और प्रशिक्षित मानव संसाधन से लैस कर रही है। IPHL जैसी उच्च गुणवत्ता वाली लैब्स ग्रामीण, आदिवासी और पिछड़े इलाकों में समय पर स्वास्थ्य जांच सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। आने वाले वर्षों में राज्य भर के जिला अस्पतालों और प्रमुख स्वास्थ्य संस्थानों को इसी मॉडल पर अपग्रेड किया जाएगा।
यह उपलब्धि छत्तीसगढ़ की स्वास्थ्य प्रणाली के लिए केवल प्रमाणन नहीं, बल्कि यह संकेत भी है कि राज्य अब राष्ट्रीय मानकों के अनुरूप गुणवत्ता केंद्रित स्वास्थ्य प्रबंधन की दिशा में अग्रसर है। IPHL मॉडल के विस्तार से रोगियों की जाँच सेवाएँ और अधिक सुलभ, तीव्र और विश्वसनीय होंगी। इसका सीधा लाभ लाखों नागरिकों को मिलेगा और राज्य के स्वास्थ्य सूचकांकों में भी उल्लेखनीय सुधार होगा। दोनों IPHL लैब्स की सफलता यह प्रमाणित करती है कि जब वैज्ञानिक मानकों, प्रशिक्षित मानव संसाधन, आधुनिक तकनीक और शासन की दृढ़ इच्छाशक्ति का संगम होता है, तब स्वास्थ्य सेवाओं में क्रांतिकारी बदलाव संभव है। यह उपलब्धि न केवल छत्तीसगढ़ बल्कि पूरे देश के लिए एक प्रेरक मॉडल है और आने वाले समय में स्वास्थ्य गुणवत्ता सुधार की दिशा में नए मानक स्थापित करेगी।
"पंडरी रायपुर और बलौदाबाजार जिलों की इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब्स को देश की प्रथम और द्वितीय क्वालिटी सर्टिफाइड IPHL बनने पर स्वास्थ्य विभाग की पूरी टीम को बधाई। यह उपलब्धि छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य तंत्र में आ रहे व्यापक, वैज्ञानिक और संरचनात्मक सुधारों का प्रमाण है। गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएँ हमारी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता हैं, और राष्ट्रीय स्तर के इस प्रमाणन ने राज्य की स्वास्थ्य प्रणाली को नई विश्वसनीयता और मजबूती प्रदान की है। IPHL मॉडल ने ग्रामीण, आदिवासी और दूरस्थ क्षेत्रों तक विश्वसनीय जांच सेवाएँ पहुँचाने का मार्ग मजबूत किया है, और आने वाले समय में राज्य के सभी जिला अस्पतालों को आधुनिक, दक्ष और मानकीकृत मॉडल पर अपग्रेड किया जाएगा।"  - मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय
"पंडरी रायपुर और बलौदाबाजार IPHL के देश की प्रथम और द्वितीय क्वालिटी सर्टिफाइड इंटिग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब बनने पर प्रदेशवासियों और पूरी स्वास्थ्य टीम को बधाई। यह उपलब्धि छत्तीसगढ़ की स्वास्थ्य प्रणाली में आए ऐतिहासिक बदलाव का परिणाम है। राज्य सरकार प्राथमिक से लेकर जिला स्तर तक सभी स्वास्थ्य संस्थानों को आधुनिक उपकरणों, प्रशिक्षित मानव संसाधन और सशक्त गुणवत्ता तंत्र से लैस कर रही है। IPHL मॉडल ने जांच सेवाओं को तेज, सटीक और किफायती बनाकर ग्रामीण एवं दूरस्थ क्षेत्रों तक स्वास्थ्य सुविधाओं की पहुँच को मजबूत किया है। आने वाले समय में इसी उच्च गुणवत्ता मॉडल का विस्तार पूरे प्रदेश में किया जाएगा, जिससे छत्तीसगढ़ राष्ट्रीय स्तर पर स्वास्थ्य सेवा गुणवत्ता का अग्रणी राज्य बनेगा।" - स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल

एक टिप्पणी छोड़ें

Data has beed successfully submit

Related News

Advertisement

Popular Post

This Week
This Month
All Time

स्वामी

संपादक- पवन देवांगन 

पता - बी- 8 प्रेस कॉम्लेक्स इन्दिरा मार्केट
दुर्ग ( छत्तीसगढ़)

ई - मेल :  dakshinapath@gmail.com

मो.- 9425242182, 7746042182

हमारे बारे में

हिंदी प्रिंट मीडिया के साथ शुरू हुआ दक्षिणापथ समाचार पत्र का सफर आप सुधि पाठकों की मांग पर वेब पोर्टल तक पहुंच गया है। प्रेम व भरोसे का यह सफर इसी तरह नया मुकाम गढ़ता रहे, इसी उम्मीद में दक्षिणापथ सदा आपके संग है।

सम्पूर्ण न्यायिक प्रकरणों के लिये न्यायालयीन क्षेत्र दुर्ग होगा।

logo.webp

स्वामी / संपादक- पवन देवांगन

- बी- 8 प्रेस कॉम्लेक्स इन्दिरा मार्केट
दुर्ग ( छत्तीसगढ़)

ई - मेल : dakshinapath@gmail.com

मो.- 9425242182, 7746042182

NEWS LETTER
Social Media

Copyright 2024-25 Dakshinapath - All Rights Reserved

Powered By Global Infotech.