रायपुर । राजधानी में होली की खुमारी अब धीरे-धीरे बढऩे लगी है। शहर के प्रमुख बाजारों में रंग-गुलाल और पिचकारियों की दुकानें सज चुकी हैं, वहीं ग्राहकी भी अब बढऩे लगी है। शहर के गोलबाजार, मालवीय रोड, बंजारी रोड, शास्त्री बाजार आदि में होली की दुकानें अच्छी ग्राहकी से गुलजार हो गया है।
13 मार्च को होलिका दहन होगा और 14 मार्च को होली पर्व मनाई जाएगी। वर्तमान में रमजान भी चल रहा है, ऐसे में शहर के बाजारों में त्योहारी खुमारी देखते ही बन रही है। सुबह से लेकर देर रात तक बाजारों के गुलजार रहने से व्यापारियों के भी चेहरे खिले हुए हैं। शहर के गोलबाजार, मालवीय रोड, शास्त्रीबाजार में होली सामग्रियों की दुकानों में हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी तरह-तरह के रंग-गुलाल लोगों की पंसद बनी हुई है। हर बार की तरह इस बार भी बाजार में हर्बल गुलाल की मांग सबसे ज्यादा है। हर्बल गुलाल में भी तरह-तरह के रंग ग्राहकों के लिए उपलब्ध है। वहीं होली में मलिंगा कैप के साथ बनावटी विगों की पूरी रेंज मौजूद है। बाजार में होली को भुनाने हर तरह के रंगीन विग लोगों को लुभा रही है।
इसके अलावा मुखौटों पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा हुआ है। केमिकल वाले रंगों से जहां आम आदमी ने किनारा कर लिया है तो वहीं दुकानदार भी पेस्ट, ट्यूब वाले पेस्ट व रंग रखने से बच रहे हैं। दुकानदारों का कहना है कि लोगों की पहले मांग होती थी, लेकिन पिछले कई सालों से अब इस तरह के केमिकल युक्त रंगों से लोग परहेज करने लगे हैं। यही कारण है कि अधिकतर दुकानदार इस तरह के केमिकल वाले रंग बेचने से परहेज कर रहे हैं। इधर बच्चों को लुभाने के लिए हर बार की तरह इस वर्ष भी कार्टून कैरेक्टर वाले पिचकारियों की पूरी रेंज बाजार में मौजूद है। छोटा भीम, मोटू-पतलू, बाल कृष्ण, बाल गणेश के स्टीकर वाले पि_ू पिचकारियां लोगों को पसंद आ रही है। इसके अलावा तरह के वाटर गन हर साइज में उपलब्ध है। पानी के गुब्बारे भी बच्चों को भा रहे हैं, लेकिन अधिकतर पैरेंट्स इससे परहेज कर रहे हैं। यही वजह है कि पिछले कई सालों से पानी के गुब्बारों की बिक्री में गिरावट आई है। दूसरी ओर शहर के चौक-चौराहों में होलिका दहन की तैयारियां भी तेज हो गई है।
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