दुर्ग। राज्य कर विभाग द्वारा 11 जुलाई 2025 को जारी आदेश क्रमांक: 3261/ई-कॉमर्स/आदेश/2025 के तहत समस्त जिलों में ई-वे बिल जांच हेतु सघन अभियान शुरू किया गया है। कैट दुर्ग जिला इकाई ने व्यापारियों एवं उद्यमियों से अपील की है कि वे इस अभियान को गंभीरता से लें और ई-वे बिल संबंधी सभी नियमों का पालन करें।
प्रकाश सांखला दुर्ग जिला कैट इकाई अध्यक्ष ने बताया कि –
"यह केवल टैक्स वसूली नहीं, बल्कि ईमानदार व्यापारियों की रक्षा हेतु अनुशासन की पुनर्स्थापना का कदम है। जो व्यापारी नियमों का पालन नहीं करेंगे, उन्हें माल और वाहन की जब्ती एवं जुर्माने का सामना करना पड़ सकता है।"
पवन बड़जात्या (कैट दुर्ग चेयरमैन ) ने बताया –
"बिना ई-वे बिल के माल ले जाने पर कर के बराबर जुर्माना, वाहन की जब्ती और पिछली खरीद-बिक्री की पूछताछ अनिवार्य होगी। अब समय आ गया है कि हर व्यापारी ई-वे बिल नियमों को अपना लें और अपने कर्मचारियों को भी प्रशिक्षित करें।"
क्या है सरकार का आदेश?
राज्य भर के ट्रांसपोर्ट नगरों, बॉर्डर प्वाइंट्स, गोदामों, और होलसेल क्षेत्रों में ई-वे बिल की सघन चेकिंग की जाएगी।
किसी भी तरह की लापरवाही के परिणामस्वरूप:
बिना वैध ई-वे बिल माल जब्त किया जाएगा।
भारी पेनाल्टी — कर के बराबर जुर्माना।
वाहन सीज़ किया जाएगा।
पुराने लेन-देन की जांच कर चोरी के संदर्भ में होगी।
व्यापारी इन सावधानियों को तुरंत अपनाएं..
1. प्रत्येक माल पर वैध ई-वे बिल बनाएं।
2. वाहन संख्या, प्रेषण तिथि, HSN कोड सही भरें।
3. GSTIN का मिलान हर बार सुनिश्चित करें।
4. ट्रांसपोर्टर से ई-वे बिल की कॉपी लें और संग्रहित करें।
5. अपने स्टाफ को ई-वे बिल नियमों का प्रशिक्षण दें।
6. रजिस्टर और GST रिटर्न अपडेट रखें।
पवन बड़जात्या ने विशेष रूप से कहा, "हम चाहते हैं कि दुर्ग जिले के व्यापारी कभी भी जांच में न फंसें। अतः सभी व्यापारी अपने सिस्टम पारदर्शी रखें और नियमों का पालन करें।"
प्रकाश सांखला ने दोहराया,
"सरकार अब डिजिटल ट्रैकिंग एवं गहन जांच प्रणाली से कर चोरी को रोकने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है। यह कदम ईमानदार व्यापारियों के हित में है।"
संपादक- पवन देवांगन
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